“थानों”
———————————-
सिरियों, थानो निवासी मनोहर सोलंकी जी जैविक खेती करते हैं। घर में गाय पालते हैं। खेती किसानी में रमे रहते हैं। खेती किसानी के पश्चात जैविक उत्पादों की बिक्री के लिए थानो एयरपोर्ट मार्ग पर स्थित दुकान पर बैठते हैं। अपने खेतों में “नागनी” नामक किस्म का धान उगाते हैं, जिसको कूट कर ₹120 प्रति किलो बेचते हैं। सरकारी सुविधा का भरपूर लाभ उठाते हैं। सरकार द्वारा जैविक उत्पादों के इस व्यवसाय में उन्हें पूर्ण सहयोग प्राप्त होता है। पर्वतीय क्षेत्रों से विभिन्न प्रकार की जैविक दालें, मसाले, शहद, आचार इत्यादि आप अपनी दुकान पर मंगाकर उसकी बिक्री करते हैं। अपने जैविक उत्पादों को बेचने के लिए कई बार आप मुंबई, गोवा, बेंगलुरु आदि शहरों तक सरकारी खर्चे पर गए हैं। और आपका अनुभव इस क्षेत्र में बहुत अच्छा रहा है। जैविक उत्पाद महंगे अवश्य हैं किंतु आपका तर्क उचित लगता है कि हम आज जो जहर युक्त अजैविक भोज्य पदार्थ खा रहे हैं और बीमार होने पर डॉक्टर्स की शरण ले रहे हैं। डॉक्टर के पास जाकर धन व्यय कर रहे हैं। उससे अच्छा तो यह है कि हम जैविक उत्पाद थोड़ा महंगे होने पर भी प्रसन्न मन से खरीदें और स्वस्थ रहें।
आपका कहना है कि जैविक खेती आजीविका का आज बहुत अच्छा साधन है। जैविक खेती से होने वाली वार्षिक आय के सम्बंध में पूछने पर आपने बताया कि गृहस्थी की गाड़ी अच्छे से चल रही है। दो बच्चे हैं, दोनों ग्राफ़िक एरा से बी टेक की पढ़ाई कर रहे हैं। शुभकामनाएं सोलंकी जी।
साक्षात्कार के लिए लिंक –
इसी प्रकार के अन्य साक्षात्कार के लिए यूट्यूब चैनल लिंक –
https://youtube.com/@ajgramin5721
समाचारों के लिए देखते रहिए-
A/J ग्रामीण न्यूज