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स्पर्श हिमालय विश्वविद्यालय में लंग कैंसर जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन

डोईवाला: स्पर्श हिमालय विश्वविद्यालय में आयोजित लंग कैंसर जागरूकता माह के अंतर्गत एक महत्वपूर्ण जागरूकता कार्यक्रम का शुभारंभ किया गया। इस कार्यक्रम की शुरुआत एम्स ऋषिकेश के कैंसर रोग विशेषज्ञ सह आचार्य डॉ. अमित सहरावत और क्लीनिकल रिसर्च कोऑर्डिनेटर अंकित तिवारी द्वारा की गई। कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य फेफड़ों के कैंसर की रोकथाम और उपचार पर छात्रों को जानकारी प्रदान करना था।

इस अवसर पर डॉ. अमित सहरावत ने फेफड़ों के कैंसर से संबंधित विभिन्न पहलुओं पर व्याख्यान दिया। उन्होंने बताया कि फेफड़ों का कैंसर विश्व स्तर पर कैंसर से होने वाली मौतों में सबसे प्रमुख कारण है और भारत में इस बीमारी के अधिकतर मामले देर से पहचाने जाते हैं, जिससे इलाज में कठिनाई उत्पन्न होती है। डॉ. सहरावत ने यह भी बताया कि भारत में फेफड़ों के कैंसर के अधिकतर मामलों का मुख्य कारण धूम्रपान, वायु प्रदूषण और अस्वास्थ्यकर जीवनशैली है।

उन्होंने यह भी कहा कि फेफड़ों के कैंसर का निदान शुरुआती लक्षणों की अस्पष्टता के कारण चुनौतीपूर्ण हो सकता है। इसके निदान के लिए इमेजिंग और बायोप्सी जैसी आधुनिक तकनीकों की आवश्यकता होती है। उपचार के लिए एक बहु-विषयक टीम की भूमिका भी महत्वपूर्ण होती है, जिसमें पल्मोनोलॉजिस्ट, ऑन्कोलॉजिस्ट, और सर्जन शामिल होते हैं।

कार्यक्रम का मुख्य संदेश “क्लोज द केयर गैप” था, जो कैंसर से जुड़ी जागरूकता और शुरुआती निदान के महत्व को रेखांकित करता है। इस दौरान छात्रों को फेफड़ों के कैंसर के मिथकों और वास्तविकताओं के बारे में भी जानकारी दी गई, ताकि समाज में फैली भ्रांतियों को दूर किया जा सके।

हिमालयीय कॉलेज ऑफ नर्सिंग की प्राचार्या डॉ. अंजना विलियम्स ने कहा कि इस कार्यक्रम ने न केवल चिकित्सकीय पहलुओं को समझाने का अवसर प्रदान किया, बल्कि समाज में जागरूकता फैलाने के लिए एक प्रेरणा स्रोत भी सिद्ध हुआ है। उन्होंने कहा कि फेफड़ों के कैंसर से निपटने के लिए जागरूकता और सही कदम उठाने की जरूरत आज पहले से कहीं अधिक है।

इस आयोजन में छात्र-छात्राओं ने कैंसर के बारे में अपने प्रश्न पूछे और चिकित्सकों से विस्तृत जानकारी प्राप्त की। कार्यक्रम का संचालन नर्सिंग ट्यूटर उपासना क्षेत्री ने किया, और अंत में सहायक आचार्य नेहा शर्मा ने धन्यवाद ज्ञापित किया। इस कार्यक्रम में सहायक आचार्य रुचि नेगी, नर्सिंग ट्यूटर सोनाली राणा और नर्सिंग छात्र-छात्राएं भी उपस्थित थे।

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