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कर्णप्रयाग महाविद्यालय की एल्युमिनाई एसोसिएशन बैठक में भविष्य की योजना पर हुई विस्तृत चर्चा

कर्णप्रयाग (अंकित तिवारी)। डाॅ. शिवानंद नौटियाल राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय कर्णप्रयाग में भूतपूर्व छात्र कल्याण प्रकोष्ठ (एल्युमिनाई एसोसिएशन) की एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई, जो हाइब्रिड मोड में थी। इस मीटिंग में महाविद्यालय के विभिन्न शिक्षकों और भूतपूर्व छात्रों ने भाग लिया और अपने विचार रखे।

बैठक की शुरुआत में कार्यक्रम के मुख्य अतिथि उच्च शिक्षा निदेशक, प्रो. (डा.) वी.एन. खाली  ने अपने उद्बोधन में कहा कि यह प्रकोष्ठ भूतपूर्व छात्रों को एक बेहतरीन मंच प्रदान करता है, जिससे वे अपने विचारों और अनुभवों को साझा कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि यह मंच महाविद्यालय और छात्रों के बीच संबंधों को और प्रगाढ़ करेगा।

विशिष्ट अतिथि महाविद्यालय के पूर्व प्राचार्य प्रो. (डा.) के.एल. तलवाड़  ने इस प्रकोष्ठ के महत्व पर जोर दिया और इसके विस्तार की आवश्यकता पर बात की। उन्होंने कहा कि यह एक ऐसा मंच है जो महाविद्यालय को एक नई दिशा देने में सहायक हो सकता है और भूतपूर्व छात्रों के योगदान से महाविद्यालय का विकास संभव है।

महाविद्यालय के वर्तमान प्राचार्य प्रो. (डा.) रामअवतार सिंह ने एल्युमिनाई एसोसिएशन के महत्व पर विस्तार से प्रकाश डाला और कहा कि यह प्रकोष्ठ न केवल भूतपूर्व छात्रों को जोड़ने का काम करता है, बल्कि महाविद्यालय के विकास में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

इस अवसर पर महाविद्यालय के भूतपूर्व छात्र और समाजसेवी हरिकृष्ण भट्ट, डा. भालचंद्र सिंह नेगी (असिस्टेंट प्रोफेसर-भूगोल), डा. दर्शन सिंह नेगी (असिस्टेंट प्रोफेसर-अंग्रेजी), डा. इन्द्र सिंह कोहली (असिस्टेंट प्रोफेसर-भूगोल), डा. रविन्द्र सिंह नेगी (असिस्टेंट प्रोफेसर-हिंदी), रितम्भरा नैनवाल, दीपक शाह और दीनदयाल ने अपने विचार व्यक्त किए। सभी ने महाविद्यालय के विकास के लिए अपनी-अपनी योजनाओं और सुझावों को साझा किया।

कार्यक्रम का संचालन एलुमिनाई प्रकोष्ठ की नोडल डा. कविता पाठक ने किया। उन्होंने सभी भूतपूर्व छात्रों का अभिवादन करते हुए कहा कि उनके विचार बहुमूल्य हैं और महाविद्यालय के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देंगे। अंत में कार्यक्रम के समापन पर डा. पूनम ने सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया।

इस कार्यक्रम में महाविद्यालय से डा. एम.एल. शर्मा, डा. हरिश बहुगुणा, डा. स्वाति सुन्दरियाल आदि उपस्थित थे।

यह बैठक महाविद्यालय के भूतपूर्व छात्रों और वर्तमान प्रबंधन के बीच एक महत्वपूर्ण संवाद का सूत्र बनी और सभी ने इस पहल का स्वागत किया।

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